बुधवार, 21 मई 2014

sansad

कल संसद भवन में श्री नरेंद्र मोदी जी को भाजपा और एनडीए के द्वारा बहुमत दल का नेता चुने जाने के सन्दर्भ में आयोजित कार्यक्रम  पूर्ण  अनुशासित सारगर्भित और भावुकता  पूर्ण था | जनतंत्र के मन्दिर संसद को जिस तरह नमन किया वो मंगल कारी भविष्य की ओर संकेत है | संसदजन -भावनाओंं का दर्पण है  इसको नमन करना अत्यन्त शुभ है संसद ही से विकास के सारे संकल्प पूरे होते  है संसद से ही सच्ची समता के द्वार खुलते है  संसद के प्रांगण में  ही जन  की क्षमता के दीप प्रज्वलित किए जा सकते है यहीं से मानव -ममता गंगा बह सकती है  भारत माता का मन्दिर  तो यही  है जहां सबको पवित्र भावना से जाना चाहिए 

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